प्यासे दलितों के लिए पूर्व बीडीसी सदस्य का अनूठा आंदोलन: भिक्षाटन कर जुटा रहा लिकेज मरम्मत का धन
राजातालाब में सैकड़ों दलित परिवारों की प्यास बुझाने को उठी आवाज, दो साल से अटका टंकी निर्माण बना मुसीबत

रिपोर्ट: राजातालाब संवाददाता
वाराणसी। भीषण गर्मी से जूझते सैकड़ों दलित परिवारों की पीड़ा को लेकर रविवार को पूर्व क्षेत्र पंचायत सदस्य राजकुमार गुप्ता ने अनोखा आंदोलन किया। कचनार गांव में पेयजल संकट के मुद्दे को लेकर उन्होंने भिक्षाटन कर धन इकट्ठा किया और लिकेज सुधार के लिए सरकार व विभागीय मशीनरी को झकझोरा।
“सरकार ने जल का वादा किया, जनता ने सवालों से नहलाया”
पेड़ों के नीचे लगी अदालत, हाथ में कटोरा और आवाज में आक्रोश
प्रतीकात्मक भिक्षाटन आंदोलन की शुरुआत सुबह 7 बजे कचनार गांव के पशु चिकित्सालय परिसर स्थित वटवृक्ष से हुई।
राजकुमार गुप्ता के साथ ग्रामीणों ने “हर घर जल पहुँचाओ”, “दलितों को पानी दो” जैसे नारे लगाए और व्यापारियों व आम नागरिकों से चंदा मांगने लगे। यह दृश्य ना केवल मार्मिक था बल्कि प्रशासन को आईना दिखाने वाला भी।
टंकी बनी नहीं, प्यास मिटी नहीं: दो साल से रुका है निर्माण कार्य
जल जीवन मिशन के तहत सरकार ने हर घर में नल से जल पहुँचाने की योजना बनाई थी। कचनार गांव में भूमि न मिलने पर पास के मेहदीगंज गांव में तीन करोड़ की लागत से टंकी निर्माण की योजना बनी। लेकिन रास्ते के विवाद के चलते दो साल बीतने के बावजूद निर्माण कार्य ठप है।
सरकारी आदेश के अनुसार यह काम 31 मार्च 2024 तक पूरा होना था, लेकिन अब इस समयसीमा को बीते भी दो महीने हो चुके हैं।
लोगों का सवाल – जल निगम के पास मरम्मत के लिए भी फंड नहीं?
गांव में पुरानी पाइपलाइनों में लिकेज से रोज़ाना हजारों लीटर पानी बर्बाद हो रहा है। स्थानीय लोगों का कहना है कि जल निगम के पास क्या मरम्मत के लिए भी फंड नहीं बचा? आंदोलनकारियों ने विभाग की उदासीनता पर सवाल उठाए।
पूर्व बीडीसी सदस्य की पहल से हरकत में आया प्रशासन
जैसे ही आंदोलन की सूचना फैली, ग्रामीण जलापूर्ति विभाग के सहायक अभियंता अभिमन्यु सिंह और कार्यदायी संस्था एलएंडटी के अधिकारी मुरली ने क्षेत्र का दौरा किया। उन्होंने प्रभावित पाइप लाइनों की मरम्मत और अधूरी टंकी के निर्माण कार्य को जल्द पूरा करने का आश्वासन दिया।
“10 दिन में लिकेज और टंकी निर्माण पूरा करने का वादा”: राजकुमार गुप्ता
राजकुमार गुप्ता ने बताया कि उन्हें विभाग से 10 दिनों के भीतर समाधान का आश्वासन मिला है। ऐसे में फिलहाल आंदोलन को स्थगित किया गया है। लेकिन यदि तय समयसीमा में कार्य नहीं हुआ, तो आंदोलन को और तीव्र रूप दिया जाएगा।
सरकारी उपेक्षा या सिस्टम की विफलता?
जहाँ एक ओर केंद्र और राज्य सरकार जल जीवन मिशन को लेकर करोड़ों खर्च कर रही हैं, वहीं ज़मीनी स्तर पर एक अदद टंकी और कुछ लिकेज दूर कराने के लिए लोगों को भिक्षाटन तक उतरना पड़ रहा है, यह प्रशासनिक कार्यशैली पर गंभीर प्रश्नचिन्ह खड़ा करता है।
फैक्ट फाइल:
- स्थान: कचनार, राजातालाब (वाराणसी)
- आंदोलन प्रारंभ: 2 जून 2025, सुबह 7 बजे
- आंदोलनकारी: राजकुमार गुप्ता, पूर्व क्षेत्र पंचायत सदस्य
- मुद्दा: अधूरी जल टंकी और क्षतिग्रस्त पाइपलाइन
- सरकारी डेडलाइन: 31 मार्च 2024 (अब दो माह पार)
- खर्च: प्रस्तावित ₹3 करोड़
- विभागीय प्रतिक्रिया: आश्वासन दिया गया, कार्य जल्द शुरू होगा